प्रशासनिक कार्यों में अनुवाद की भूमिका | Prashasanik Karyon Men Anuvad Ki Bhumika

 राजभाषा अधिनियम, 1963 (यथा संशोधित, 1967) के प्रावधानों के अनुसार संघ सरकार के राजकाज में द्विभाषिकता की स्थिति आ गई जिसके अनुसार सरकारी अधिकारियों और कर्मचारियों को अपने शासकीय कार्य हिंदी अथवा अँग्रेजी में करने की छूट दी गई तथा उक्त अधिनियम की धारा 3(3) के अंतर्गत आने वाले सभी कागजात हिंदी और अँग्रेजी में द्विभाषी रूप में प्रस्तुत … Read more

error: Content is protected !!